बुलेट ट्रेन: जापानी राजदूत ने किया निर्माण स्थल का दौरा, भारत में होगी क्रांति
भारत में जापान के राजदूत हिरोशी सुजुकी ने अहमदाबाद-मुंबई बुलेट ट्रेन परियोजना की तारीफ की है। बुधवार को सूरत पहुंचे हिरोशी ने कहा कि अहमदाबाद-मुंबई बुलेट ट्रेन परियोजना के पूरा होने के बाद भारत में हाई-स्पीड रेल की दिशा में क्रांति आ जाएगी।
जापानी राजदूत ने नेशनल एचएसआर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (एनएचएसआरसीएल) के प्रबंध निदेशक राजेंद्र प्रसाद के साथ सूरत में बुलेट ट्रेन मार्ग पर हाई स्पीड रेल (एचएसआर) स्टेशन के निर्माण स्थल का भी दौरा किया। भारत की पहली बुलेट ट्रेन परियोजना को जापान इंटरनेशनल कोऑपरेशन एजेंसी (JICA) द्वारा वित्त पोषित किया गया है।
मारुति सुजुकी की तरह आएगी क्रांति…
यहां मीडिया से बात करते हुए जापानी राजनयिक ने कहा, बुलेट ट्रेन परियोजना का बड़े पैमाने पर निर्माण कार्य जोरों पर चल रहा है. मैं एक परियोजना और एक टीम भावना में अपने भारतीय दोस्तों के साथ मिलकर काम करने के लिए उत्सुक हूं। जब यह विशाल परियोजना पूरी हो जाएगी तो मुझे यकीन है कि यह एक नई क्रांति लाएगी। उन्होंने कहा कि उन्हें मारुति सुजुकी क्रांति की तरह एक उच्च गति वाली रेल क्रांति की उम्मीद है। इसका भविष्य बहुत उज्जवल है।
सूरत-बिलिमोरा सेक्शन का ट्रायल जून 2026 में पूरा हो जाएगा
वहीं, बुलेट प्रोजेक्ट के निर्माण कार्य की देखरेख करने वाली एजेंसी एनएचएसआरसीएल के प्रमुख प्रसाद ने कहा कि दक्षिण गुजरात में सूरत-बिलिमोरा सेक्शन पर बुलेट ट्रेन का निर्माण कार्य तेज गति से चल रहा है और टेस्टिंग की जा रही है. इस खंड का काम जून 2026 में पूरा हो जाएगा। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र खंड पर बुलेट परियोजना के काम में पिछले कुछ महीनों में तेजी आई है और 98.22 प्रतिशत भूमि का अधिग्रहण किया जा चुका है।
प्रसाद ने कहा कि सूरत और बिलिमोरा के बीच प्राथमिकता खंड पर हम अक्टूबर 2023 तक पुल का निर्माण पूरा कर लेंगे और उसके बाद ट्रैक निर्माण का काम शुरू हो जाएगा. हम जून 2026 तक ट्रायल रन शुरू कर देंगे। उन्होंने कहा कि टनल और स्टेशन के निर्माण के लिए टेंडर मंगाए गए हैं।
परियोजना के लिए 98.68 प्रतिशत भूमि का अधिग्रहण किया गया
एनएचएसआरसीएल ने एक बयान में कहा कि परियोजना के लिए 98.68 प्रतिशत भूमि का अधिग्रहण किया गया है, जिसमें गुजरात में 98.87 प्रतिशत, दादरा नगर हवेली में 100 प्रतिशत और महाराष्ट्र में 98.22 प्रतिशत भूमि शामिल है।